मंगला पशु बीमा योजना 2025-26 – गाय, भैंस और बकरी का 40,000 रुपये तक का बीमा कराएं | mangla pashu bima yojana 2025-26

पशुपालन भारतीय कृषि अर्थव्यवस्था की रीढ़ है, और किसानों के लिए उनके पशु धन की सुरक्षा सर्वोपरि है। मंगला पशु बीमा योजना किसानों को उनके पशुओं की अप्रत्याशित मृत्यु या अपंगता के जोखिम से बचाने के लिए एक क्रांतिकारी कदम है। यह योजना पशुपालकों को वित्तीय सुरक्षा प्रदान करते हुए उनके आय के स्रोत को सुरक्षित करती है।

योजना का उद्देश्य एवं महत्व

मंगला पशु बीमा योजना का प्रमुख लक्ष्य छोटे और सीमांत किसानों को उनके पशुधन के नुकसान से होने वाली आर्थिक क्षति से उबारना है। इस योजना का महत्व इसलिए और बढ़ जाता है क्योंकि:

  • यह पशुपालन को एक जोखिम-मुक्त व्यवसाय बनाती है

  • किसानों को आर्थिक स्थिरता प्रदान करती है

  • पशुधन की गुणवत्ता में सुधार को प्रोत्साहित करती है

पात्र पशु और बीमा कवर का दायरा

इस योजना के अंतर्गत निम्नलिखित पशुओं का बीमा कराया जा सकता है:

  • दुधारू पशु: गाय, भैंस

  • छोटे पशु: बकरी, भेड़

  • मुर्गी पालन: कुक्कुट पालन इकाइयाँ

बीमा कवर में शामिल हैं:

  • प्राकृतिक या आकस्मिक मृत्यु

  • दुर्घटनावश अपंगता

  • आग, बाढ़, बिजली गिरने जैसी प्राकृतिक आपदाओं से हानि

  • चोरी (कुछ शर्तों के अंतर्गत)

बीमा राशि और प्रीमियम संरचना

योजना के तहत बीमा राशि पशु के बाजार मूल्य के आधार पर निर्धारित की जाती है। सामान्यतः:

  • प्रीमियम दर: कुल बीमा राशि का मात्र 2-4%

  • सरकारी सहायता: केंद्र और राज्य सरकार द्वारा प्रीमियम पर सब्सिडी

  • अधिकतम कवर: विभिन्न पशुओं के लिए अलग-अलग सीमाएँ निर्धारित

पात्रता शर्तें

आवेदक और पशु दोनों को निम्नलिखित शर्तों का पालन करना होगा:

  • आवेदक: भारतीय नागरिक हो, मुख्य रूप से किसान या पशुपालक

  • पशु की आयु: गाय-भैंस के लिए 2 से 12 वर्ष, बकरी के लिए 6 महीने से 5 वर्ष

  • पशु स्वास्थ्य: बीमा के समय पशु पूर्णतः स्वस्थ हो

  • पंजीकरण: पशु का स्थानीय पशु चिकित्सा विभाग में पंजीकृत होना आवश्यक

आवश्यक दस्तावेज

आवेदन प्रक्रिया के दौरान निम्नलिखित दस्तावेजों की आवश्यकता होगी:

  • आवेदक का आधार कार्ड

  • पशु की फोटोग्राफ

  • पशु का स्वास्थ्य प्रमाण पत्र

  • बैंक खाता विवरण

  • आय प्रमाण पत्र (यदि आवश्यक हो)

  • मोबाइल नंबर और ईमेल आईडी

आवेदन प्रक्रिया: ऑनलाइन और ऑफलाइन विधि

ऑनलाइन आवेदन विधि:

  1. संबंधित बीमा कंपनी (जैसे एग्रीकल्चर इंश्योरेंस कंपनी) की आधिकारिक वेबसाइट पर जाएँ

  2. ‘मंगला पशु बीमा योजना’ के सेक्शन में जाएँ

  3. आवेदन फॉर्म में सभी आवश्यक जानकारी भरें

  4. आवश्यक दस्तावेजों को स्कैन करके अपलोड करें

  5. प्रीमियम राशि का ऑनलाइन भुगतान करें

  6. आवेदन संख्या प्राप्त करें और उसे सुरक्षित रखें

ऑफलाइन आवेदन विधि:

  1. नजदीकी पशु चिकित्सालय या कृषि विभाग के कार्यालय में संपर्क करें

  2. आवेदन फॉर्म प्राप्त करें और सही-सही भरें

  3. सभी दस्तावेजों की प्रतिलिपि संलग्न करें

  4. प्रीमियम राशि का भुगतान करें

  5. पावती प्राप्त करें

दावा प्रक्रिया

पशु की मृत्यु या अपंगता की स्थिति में:

  1. तुरंत बीमा कंपनी और पशु चिकित्सा अधिकारी को सूचित करें

  2. पशु चिकित्सा अधिकारी द्वारा मृत्यु प्रमाण पत्र प्राप्त करें

  3. दावा फॉर्म भरकर आवश्यक दस्तावेजों के साथ जमा करें

  4. बीमा कंपनी द्वारा सत्यापन के बाद बीमा राशि सीधे खाते में जमा

महत्वपूर्ण सुझाव

  • बीमा कराने से पहले योजना की सभी शर्तों को ध्यानपूर्वक पढ़ें

  • पशु के स्वास्थ्य संबंधी सभी रिकॉर्ड सुरक्षित रखें

  • नियमित रूप से पशु का टीकाकरण करवाएँ

  • दावा प्रक्रिया में देरी न करें

निष्कर्ष:

मंगला पशु बीमा योजना किसान समुदाय के लिए एक वरदान साबित हो रही है। यह न केवल पशुपालकों को वित्तीय सुरक्षा प्रदान करती है, बल्कि कृषि अर्थव्यवस्था को मजबूती भी प्रदान करती है। यदि आप पशुपालन से जुड़े हैं, तो इस योजना का लाभ अवश्य उठाएं और अपने पशु धन को सुरक्षित करें। एक छोटा सा निवेश आपको बड़े आर्थिक नुकसान से बचा सकता है।

FAQ

1. मंगला पशु बीमा योजना क्या है?
मंगला पशु बीमा योजना किसानों को उनके पशुधन की अप्रत्याशित मृत्यु या अपंगता के जोखिम से बचाने के लिए एक सरकारी योजना है। यह पशुपालकों को वित्तीय सुरक्षा प्रदान करती है और उनके आय के स्रोत को सुरक्षित करती है।

2. इस योजना का मुख्य उद्देश्य क्या है?
इस योजना का प्रमुख लक्ष्य छोटे और सीमांत किसानों को उनके पशुधन के नुकसान से होने वाली आर्थिक क्षति से उबारना है। यह पशुपालन को एक जोखिम-मुक्त व्यवसाय बनाती है, किसानों को आर्थिक स्थिरता प्रदान करती है और पशुधन की गुणवत्ता में सुधार को प्रोत्साहित करती है।

3. इस योजना के अंतर्गत किन पशुओं का बीमा कराया जा सकता है?
इस योजना के तहत दुधारू पशु (जैसे गाय, भैंस), छोटे पशु (जैसे बकरी, भेड़) और मुर्गी पालन (कुक्कुट पालन इकाइयाँ) का बीमा कराया जा सकता है।